Friday, July 30, 2021

जब तक संदेह करने के कारण न हों, तब तक दृष्ट साक्ष्य को सबसे अच्छा प्रमाण माना जाता है- सुप्रीम कोर्ट

          
                  सर्वोच्च न्यायालय
न्यायमूर्ति नवीन सिन्हा व न्यायमूर्ति सुभाष रेड्डी

साक्ष्य विधि- जब तक संदेह करने के कारण न हों, तब तक दृष्ट साक्ष्य को सबसे अच्छा प्रमाण माना जाता है।  यह केवल उस मामले में होता है जहां चिकित्सा साक्ष्य और मौखिक साक्ष्य के बीच एक घोर विरोधाभास होता है, और चिकित्सा साक्ष्य नेत्र संबंधी गवाही को असंभव बना देता है और नेत्र संबंधी साक्ष्य के सत्य होने की सभी संभावनाओं को खारिज कर देता है, दृष्ट साक्ष्य पर विश्वास नहीं किया जा सकता है।

साक्ष्य विधि - हथियार की रिकवरी - किसी भी एफएसएल रिपोर्ट की अनुपस्थिति - घटना के स्थान से हमले के हथियारों की रिकवरी पीडब्लू 4 और पीडब्ल्यू 5 के साक्ष्य से स्थापित होती है जिन्होंने जब्ती ज्ञापन पर अपने हस्ताक्षर से इनकार नहीं किया था और न ही उन्होंने यह कहा है कि  उन्हें जब्ती ज्ञापन पर हस्ताक्षर करने के लिए मजबूर किया गया था।  कुल मिलाकर, उपलब्ध साक्ष्य की प्रकृति को देखते हुए, जब्त किए गए हथियारों पर उंगलियों के निशान के संबंध में किसी भी एफएसएल रिपोर्ट की अनुपस्थिति को अप्रासंगिक माना जाता है।

दिनाँक 26 जुलाई 2021

No comments:

Post a Comment